Updated Thu, 08 Dec 2022 05:30 AM IST
JODHPUR VIDYUT VITRAN NIGAM LTD
The legislative Assembly of Rajasthan approved the Rajasthan Power Sector Reforms Bill (Reform Bill) on September 25,1999. The reform bill received the Presidential Assent on December 28,1999 and became effective from June 1, 2000. As the first initiative in implementing the reforms program, GoR established Rajasthan Electricity Regulatory Commission (RERC) in January 2000.Read More..
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Jodhpur Vidyut Vitran Nigam Limited
The legislative Assembly of Rajasthan approved the Rajasthan Power Sector Reforms Bill (Reform Bill) on September 25,1999. The reform bill received the Presidential Assent on December 28,1999 and became effective from June 1, 2000. As the first initiative in implementing the reforms program, GoR established डीमैट अकाउंट में लगने वाले शुल्क Rajasthan Electricity Regulatory Commission (RERC) in January 2000. The vertically integrated monopoly power utility RSEB was unbundled into new entities on 19th July 2000, based on functional specialization, namely:
· Rajasthan Rajya Vidyut Utpadan Nigam Limited(RVUN), to operate and maintain the existing state owned power stations
· Rajasthan Rajya Vidyut Prasaran Nigam Limited (RVPN), to undertake the function of transmission and bulk supply of electricity in Rajasthan and also own the rights in shared inter-state partnership projects.
· The distribution function was separated from RSEB and vested into three Distribution Companies, registered under the Companies Act namely, Jaipur Vidyut Vitran Nigam Limited, Ajmer Vidyut Vitran Nigam Limited and Jodhpur Vidyut Vitran Nigam Limited.
· Area of Jodhpur Discom 1.82 Lacs. Sq. KM
· The area of Jodhpur Discom is equivalent to area of Gujarat (1.96 Lacs डीमैट अकाउंट में लगने वाले शुल्क Sq. KM).
· The area of Jodhpur Discom is more than three times to area of Punjab (0.50 Lacs Sq. KM)
Ballia News: सुरहा ताल पक्षी महोत्सव की तैयारियां तेज, डीएम ने लिया जायजा
वाराणसी ब्यूरो
Updated Thu, 08 Dec 2022 05:30 AM IST
सुरहाताल में आयोजित होने वाले वोटिंग की तैयारियों का निरीक्षण करती जिलाधिकारी सौम्या अग्रवाल। - फोटो : BALLIA
बलिया। जिलाधिकारी सौम्या अग्रवाल ने सुरहा ताल पक्षी महोत्सव 2022 की तैयारियों का जायजा लिया। वहां पर उन्होंने लगने वाले फूड स्टॉलों और सफाई की व्यवस्था देखी। साथ ही उन्होंने महिलाओं और बच्चों की सुविधा के लिए शौचालय के निर्माण का भी निर्देश दिया। इसके अतिरिक्त उन्होंने निर्देश दिया कि नौकायन करने आने वाले सैलानियों की सुरक्षा का पूरा ख्याल रखा जाए और उन्हें नौकायन कराते समय लाइफ जैकेट अवश्य पहनाई जाए। साथ ही सीमित लोगों को ही नावों पर बैठाया जाए, जिससे कि किसी प्रकार की दुर्घटना न हो।
उन्होंने हनुमानगंज ब्लॉक के बीडीओ को निर्देश दिया कि महोत्सव के समय किसी प्रकार की असुविधा न होने पाए। लोग सुबह से ही प्रवासी पक्षियों को देखने के लिए आने लगेंगे। जिलाधिकारी स्वयं बृहस्पतिवार की सुबह छह बजे प्रवासी पक्षियों को देखने के लिए आएंगी। उन्होंने निर्देश दिया कि महिलाओं, बच्चों और आमजन लोगों के लिए जलपान की व्यवस्था की जाए। साथ ही लोगों के बैठने के लिए बेंचें लगाई जाएं और बच्चों के मनोरंजन के लिए झूलों की व्यवस्था की जाए। उधर, सुरहा ताल पक्षी विहार का लोगो (शुभंकर) का अनावरण जिलाधिकारी और जनप्रतिनिधियों की उपस्थिति में कलेक्ट्रेट से किया डीमैट अकाउंट में लगने वाले शुल्क जाएगा।
बलिया। जिलाधिकारी सौम्या अग्रवाल ने सुरहा ताल पक्षी महोत्सव 2022 की तैयारियों का जायजा लिया। वहां पर उन्होंने लगने वाले फूड स्टॉलों और सफाई की व्यवस्था देखी। साथ ही उन्होंने महिलाओं और बच्चों की सुविधा के लिए शौचालय के निर्माण का भी निर्देश दिया। इसके अतिरिक्त उन्होंने निर्देश दिया कि नौकायन करने आने वाले सैलानियों की सुरक्षा का पूरा ख्याल रखा जाए और उन्हें नौकायन कराते समय लाइफ जैकेट अवश्य पहनाई जाए। साथ ही सीमित लोगों को ही नावों पर बैठाया जाए, जिससे कि किसी प्रकार की दुर्घटना न हो।
उन्होंने हनुमानगंज ब्लॉक के बीडीओ को निर्देश दिया कि महोत्सव के समय किसी प्रकार की असुविधा न होने पाए। लोग सुबह से ही प्रवासी पक्षियों को देखने के लिए आने लगेंगे। जिलाधिकारी स्वयं बृहस्पतिवार की सुबह छह बजे प्रवासी पक्षियों को देखने के लिए आएंगी। उन्होंने निर्देश दिया कि महिलाओं, बच्चों और आमजन लोगों के लिए जलपान की व्यवस्था की जाए। साथ ही लोगों के बैठने के लिए बेंचें लगाई जाएं और बच्चों के मनोरंजन के लिए झूलों की व्यवस्था की जाए। उधर, सुरहा ताल पक्षी विहार का लोगो (शुभंकर) का अनावरण जिलाधिकारी और जनप्रतिनिधियों की उपस्थिति में कलेक्ट्रेट से किया जाएगा।
शेयर बाजार में पैसा लगाने वाले ध्यान दें! 1 अप्रैल से बंद हो जाएगा Demat Account, जानें वजह
जो लोग शेयर मार्केट में निवेश करते हैं, डेट सिक्योरिटीज खरीदते हैं, उन्हें हर हाल में 31 मार्च से पहले अपना KYC अपडेट करवा लेना है, इसके बाद आपको मुश्किलों का सामना करना पड़ सकता है.
- डीमैट अकाउंट निवेशक, ट्रेडिंग अकाउंट के लिए KYC अपडेट करें
- 31 मार्च तक KYC अपडेट करना जरूरी है
- 1 अप्रैल से अकाउंट्स डीएक्टिवेट कर दिए जाएंगे
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नई दिल्ली: Demat Account Update: शेयर बाजार के इन्वेस्टर्स के लिए जरूरी खबर है. अगर आप शेयर बाजार में पैसा लगाते हैं और आपके पास डीमैट अकाउंट है या ट्रेडिंग अकाउंट है तो आपके लिए ये खबर बहुत जरूरी है. अगर आपने अब तक अपना KYC अपडेट नहीं किया है तो 31 मार्च तक अपडेट कर लें. वरना आपका अकाउंट डीएक्टिवेट हो जाएगा. आइए जानते हैं विस्तार से.
31 मार्च तक KYC अपडेट करें
डिपॉजिटरीज नेशनल सिक्योरिटीज डिपॉजिटरी लिमिटेड (NSD) और सेंट्रल डिपॉजिटरीज सर्विसेज लिमिटेड (CDSL) की ओर से जारी सर्कुलर में कहा गया था कि अकाउंट होल्डर्स के लिए 6 KYC जानकारियां देनी हैं. ये जानकारियां हैं- नाम, पता, PAN, मोबाइल नंबर, ई-मेल आईडी और इनकम रेंज.
6 KYC जानकारियां अपडेट करनी हैं
गौरतलब है कि 1 जून 2021 के बाद खोले गए नए अकाउंट्स के लिए सभी 6 जानकारियां अनिवार्य कर दी गई हैं. जबकि मौजूदा अकाउंट्स के लिए मार्केट रेगुलेटर सेबी ने डिपॉजिटर्स से कहा है कि वो सभी 6 KYC को अपडेट करें और जहां जरूरी हो क्लाइंट्स सूचित करें कि वो इसे अपडेट करें.
PAN को वेरिफाई करें
इस सर्कुलर में डीमैट अकाउंट में लगने वाले शुल्क डीमैट अकाउंट में लगने वाले शुल्क डीमैट अकाउंट में लगने वाले शुल्क कहा गया है कि सिक्योरिटीज मार्केट में ट्रांजैक्शन के लिए क्लाइंट्स की ओर से PAN जमा करने की अनिवार्यता स्वीकृत छूट के साथ डीमैट अकाउंट में लगने वाले शुल्क जारी रहेगी, निवेशकों से कहा गया है कि वो PAN कार्ड को इनकम टैक्स की वेबसाइट पर जाकर वेरिफाई कर लें. अगर PAN कार्ड आधार से लिंक नहीं है तो PAN कार्ड को वैलिड नहीं माना जाएगा.
ये जानकारियां भी अपडेट करें
सभी खाताधारकों को अलग से मोबाइल नंबर और ई-मेल एड्रेस देना होगा. हालांकि लिखित डेक्लेरेशन देने के बाद खाताधारक अपने परिवार को मोबाइल नंबर और ई-मेल एड्रेस अपडेट कर सकता है. परिवार से आशय खुद, जीवनसाथी, निर्भर माता-पिता और बच्चों से है.
परिवार की जानकारी भी अपडेट कराएं
अगर एक से ज्यादा डीमैट अकाउंट में एक ही मोबाइल नंबर या ईमेल आईडी पाई गई और परिवार की जानकारी भी अपडेट नहीं है, तो ऐसे डीमैट अकाउंट होल्डर्स को 15 दिन का नोटिस देकर उनसे मोबाइल नंबर, ई-मेल आईडी बदलाव फॉर्म या रिक्वेस्ट लेटर जमा करने के लिए कहना होगा. अगर वो ऐसा करने में नाकाम रहते हैं तो ऐसे खातों को नॉन-कंप्लायंट्स में डाल दिया जाएगा.
खाताधारकों को डिपॉजिटर्स को अपनी इनकम रेंज, इंडिविजुअल और नॉन-इंडिविजुअल रूप में अलग अलग बतानी होगी. इंडिविजु्अल्स के लिए इनकम रेंज 1 लाख रुपये से लेकर 25 लाख रुपये तक की रेंज वाले शामिल हैं. जबकि नॉन इंडिविजुअल की रेंज 1 करोड़ रुपये से ऊपर तक की है.
14 साल पहले सहारा के निवेशकों के साथ हुआ खिलवाड़! अब सुब्रत रॉय, कंपनी पर नया शिकंजा
सेबी ने नियामकीय नियमों के उल्लंघन के एक मामले में सहारा समूह की कंपनी, इसके प्रमुख सुब्रत रॉय और अन्य को 15 दिन के भीतर 6.42 करोड़ रुपये का भुगतान करने का निर्देश दिया है।
निवेशकों के हित से जुड़े करीब 14 साल पुराने मामले में सहारा समूह और सुब्रत रॉय की मुश्किलें बढ़ने वाली है। दरअसल, सेबी ने नियामकीय नियमों के उल्लंघन के एक मामले में सहारा समूह की कंपनी, इसके प्रमुख सुब्रत रॉय और अन्य को 15 दिन के भीतर 6.42 करोड़ रुपये का भुगतान करने का निर्देश दिया है। भुगतान नहीं किए जाने की स्थिति में एसेट की कुर्की की चेतावनी भी दी गई है। बता दें कि सेबी ने कुछ महीने पहले जुर्माने लगाया था जिसका भुगतान नहीं किए जाने पर नोटिस जारी किया गया है।
जून में लगा जुर्माना: सेबी ने जून में सहारा इंडिया रियल एस्टेट कॉरपोरेशन (अब सहारा कमोडिटी सर्विसेस कॉरपोरेशन), सुब्रत रॉय, अशोक रॉय चौधरी, रवि शंकर दुबे और वंदना भार्गव पर कुल छह करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया था। यह जुर्माना वैकल्पिक पूर्ण-परिवतर्नीय डिबेंचर (ओएफसीडी) जारी करने संबंधी नियामकीय नियमों का उल्लंघन करने की वजह से लगाया गया था।
14 साल पुराना है मामला: सहारा इंडिया रियल एस्टेट कॉरपोरेशन और सहारा हाउसिंग इन्वेस्टमेंट कॉरपोरेशन ने ये डिबेंचर 2008-2009 के दौरान जारी किए थे। लेकिन सेबी का कहना है कि डिबेंचर जारी करने में निवेशकों के हितों की रक्षा करने लिए बनी अलग-अलग प्रक्रियाओं का पालन नहीं किया गया।
सेबी ने हालिया नोटिस में पांचों को 15 दिन के भीतर 6.42 करोड़ रुपये का भुगतान करने का निर्देश दिया जिसमें ब्याज और रिकवरी शुल्क भी शामिल है।
नियमित चालू खाते
आईसीआईसीआई बैंक व्यापार बैंकिंग में आपके अपने नियमित व्यापार लेनदेनों के लिए चालू खाता उत्पादों की एक विस्तृत श्रृंखला मौजूद है। ये उत्पाद छोटे खुदरा विक्रेताओं, व्यापारियों, स्वरोजगार पेशेवरों और 2 करोड़ से कम के वार्षिक कारोबार वाले ऐसे अन्य व्यवसायों के लिए सबसे उपयुक्त हैं। आप ऐसा उत्पाद चुन सकते हैं जो आपके व्यवसाय की आवश्यकताओं के लिए सबसे अधिक उपयुक्त हो।
नए स्टार्टअप के लिए चालू खाता
स्टार्टअप उद्यमों के लिए चालू खाता जो पहले 6 महीनों के लिए शून्य मासिक औसत शेष (MAB) की आवश्यकता के साथ, खाते में बनाए रखे जाने वाले मासिक औसत शेष (MAB) के आधार पर लेन-देन पर मिलने वाले लाभ प्रदान करता डीमैट अकाउंट में लगने वाले शुल्क है।
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- प्रति माह 100 नि:शुल्क चेक
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शुभारम्भ चालू खाता
स्वामित्व वाले स्टार्टअप उद्यमों के लिए, पहले 6 महीने के लिए शून्य औसत मासिक शेष (MAB) की आवश्यकता के साथ चालू खाता, जो खाते में बनाए रखे गए औसत मासिक शेष (MAB) के आधार पर लेनदेन लाभ प्रदान करता है।
- बनाए रखे गए औसत मासिक शेष (MAB) के 12 गुने तक देश में कहीं भी डीमैट अकाउंट में लगने वाले शुल्क नि:शुल्क नकद जमा
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स्मार्ट व्यवसाय खाता
एक ऐसा चालू खाता जो खाते में बनाए रखे गए मासिक औसत शेष (MAB) के आधार पर लेनदेन लाभ प्रदान करता है। केवल रु. 25,000 का न्यूनतम मासिक औसत शेष (MAB) बनाए रखिए और 12 गुने तक नि:शुल्क नकद जमा सुविधा प्राप्त कीजिए।
- बनाए रखे गए मासिक औसत शेष (MAB) के 12 गुने तक, देश में कहीं भी नि:शुल्क नकद जमा।
- यदि बनाए रखा जाने वाला डीमैट अकाउंट में लगने वाले शुल्क मासिक औसत शेष (MAB) 1 लाख एवं उससे अधिक होता है, तो नि:शुल्क आरटीजीएस और एनईएफटी लेनदेन
- प्रति माह नि:शुल्क 100 चेक
- यदि मासिक औसत शेष (MAB) 1 लाख और उससे अधिक बनाए रखा जाता है तो नि:शुल्क मोबाइल अलर्ट की सुविधा।
स्मार्ट व्यवसाय खाता – गोल्ड
एक ऐसा चालू खाता जो खाते में बनाए रखे गए मासिक औसत शेष (MAB) के आधार पर कई प्रकार के लाभ प्रदान करता है। केवल 1, 00000 रुपए का न्यूनतम मासिक औसत शेष (MAB) बनाए रखिए और बनाए रखे गए मासिक औसत शेष (MAB) के 12 गुने तक नि:शुल्क नकद जमा प्राप्त कीजिए।
- बनाए रखे गए मासिक औसत शेष (MAB) के 12 गुने या 1.8 करोड़ रु. में से जो भी कम हो, तक कहीं भी नि:शुल्क नकद जमा।
- नि:शुल्क आरटीजीएस और एनईएफटी लेनदेन
- हर महीने 300 नि:शुल्क चेक
- नि:शुल्क मोबाइल अलर्ट की सुविधा
रोमिंग चालू खाता गोल्ड
प्रति माह 10 लाख से कम नकद जमा आवश्यकता के साथ मध्यम आकार के खुदरा विक्रेताओं के लिए उपयुक्त चालू खाता। 1 लाख रुपए की न्यूनतम मासिक औसत शेष (MAB) प्रतिबद्धता पर लेनदेन लाभ उठाइए।
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रोमिंग चालू खाता प्रीमियम
एक ऐसा प्रीमियम खाता जो 50,000 रुपए की न्यूनतम मासिक औसत शेष राशि (MAB) प्रतिबद्धता पर 5 लाख रुपए तक नि:शुल्क नकद जमा की पेशकश करता है।
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- देश भर में कहीं भी निःशुल्क चेक संग्रह और भुगतान।
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- प्रति माह 100 चेक
रोमिंग चालू खाता क्लासिक डीमैट अकाउंट में लगने वाले शुल्क
25,000 रु. के न्यूनतम मासिक औसत शेष (MAB) आवश्यकता के साथ स्थानीय व्यवसायों के लिए उपयुक्त चालू खाता।
- खाता खोलने के शहर के भीतर 2.5 लाख रुपए प्रति माह तक नि:शुल्क नकद जमा
- देश भर में कहीं भी निःशुल्क चेक संग्रह और भुगतान
- ऑनलाइन किया जाने वाला नि:शुल्क आरटीजीएस और एनईएफटी लेनदेन
- प्रति माह नि:शुल्क 50 चेक
मानक रोमिंग चालू खाता
एक मानक चालू खाता डीमैट अकाउंट में लगने वाले शुल्क जो मात्र 10,000 रु. की मासिक औसत शेष (MAB) प्रतिबद्धता के साथ आपके व्यवसाय के सुचारु संचालन को सुनिश्चित करता है।
- खाता खोलने के शहर के भीतर 1 लाख रुपए प्रति माह तक नि:शुल्क नकद जमा।
- देश भर में कहीं भी निःशुल्क चेक संग्रह और भुगतान
- ऑनलाइन किया जाने वाला नि:शुल्क आरटीजीएस और एनईएफटी लेनदेन
- प्रति माह 25 नि:शुल्क चेक
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